Hindalco Plant Renukoot: हिंडालको s t p प्लांट में काम करने वाले सप्लाई मजदूर रिजवान के साथ एक गंभीर घटना घटित हुई है, जिसमें उनके हाथ में पट्टे आने के कारण उनकी उंगली कट गई। यह घटना सिर्फ शारीरिक चोट नहीं थी, बल्कि इसके पीछे एक बड़ी समस्या भी छिपी हुई है। रिजवान भाई को इस हादसे में काफी ज्यादा चोटें आईं, जिससे उनकी कार्यक्षमता पर नकारात्मक प्रभाव पड़ा। इस प्रकार की घटनाएँ अक्सर औद्योगिक क्षेत्रों में होती हैं, जहाँ सुरक्षा मानकों का पालन नहीं किया जाता है।

यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना 28 दिसंबर, दिन शनिवार, सुबह 9:45 बजे के आसपास हुई। जब यह घटना घटित हुई, तब प्लांट के अधिकारियों ने तुरंत उन्हें प्राथमिक चिकित्सा उपलब्ध कराई और फिर उन्हें इलाज कराने के बाद वापस काम पर लगा दिया। यह एक चिंताजनक बात है कि जब रिजवान काम करने में असमर्थ हुए, तो उन्हें मजबूरन काम करने के लिए कहा गया। यह न केवल उनके स्वास्थ्य के लिए हानिकारक था, बल्कि यह भी दर्शाता है कि प्रबंधन की तरफ से श्रमिकों की सुरक्षा और स्वास्थ्य को प्राथमिकता नहीं दी जा रही है।
जब रिजवान ने काम करने से मना किया, तो प्लांट के अधिकारियों ने उन्हें बाहर आने से रोक दिया। इसके साथ ही, अधिकारियों ने उन्हें धमकी दी कि यदि बाहर किसी को इस घटना के बारे में पता चला, तो उन्हें नौकरी से हटा दिया जाएगा। यह स्थिति श्रमिकों के लिए अत्यंत भयावह है, क्योंकि इससे उनकी नौकरी और आर्थिक सुरक्षा पर खतरा मंडराता है। इस प्रकार का दबाव श्रमिकों को मजबूर करता है कि वे अपनी सुरक्षा के प्रति लापरवाह रहें और काम करते रहें, भले ही उनकी स्थिति कितनी भी गंभीर क्यों न हो।
घटना की जानकारी मिलते ही, डब्लू सिंह और उनके कार्यकर्ताओं ने तुरंत इस मामले में हस्तक्षेप किया और रिजवान को मुआवजा दिलाने की मांग उठाई। यह महत्वपूर्ण है कि श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा की जाए, और उन्हें उचित मुआवजा दिया जाए। मेरा, आप हिंडालको मैनेजमेंट से यह स्पष्ट अनुरोध है कि वे इस घटना की पूरी जिम्मेदारी लें और श्रमिकों को सभी सुविधाएं लेबर लॉ के तहत प्रदान करें। यह न केवल एक कानूनी आवश्यकता है, बल्कि यह मानवीय दृष्टिकोण से भी आवश्यक है।

इस प्रकार के मामलों में, जब किसी श्रमिक की उंगली कट जाती है, तो उन्हें आजीवन पेंशन मिलनी चाहिए। जब कार्य के दौरान कोई दुर्घटना होती है, तो उसके लिए पूरा मुआवजा दिया जाना चाहिए। इसलिए, हिंडालको मैनेजमेंट को इस मामले में उचित कदम उठाने की आवश्यकता है, ताकि रिजवान और उनके परिवार का भरण-पोषण सही तरीके से हो सके। यह आवश्यक है कि सभी श्रमिकों को उनके अधिकारों के बारे में जागरूक किया जाए और उन्हें अपने स्वास्थ्य और सुरक्षा की रक्षा के लिए प्रोत्साहित किया जाए।
घटना के बारे में जानकारी मिलते ही डब्लू सिंह और उनके कार्यकर्ताओं ने उस मजदूर को मुआवजा दिलाने की मांग उठाई, जिससे यह स्पष्ट होता है कि श्रमिकों के अधिकारों के लिए संघर्ष जारी रहेगा।